Length cannot be less than zero. Parameter name: lengthIncorrect syntax near ')'. Latest News, India News, Breaking News, Bollywood, Sports : TodayIndya

Latest News

  • Home
  • National
  • हवाई चप्पल, हाफ शर्ट, पर्रिकर जैसा कोई नहीं, 20 अनदेखी तस्वीरें
हवाई चप्पल, हाफ शर्ट, पर्रिकर जैसा कोई नहीं, 20 अनदेखी तस्वीरें
Tuesday, March 19, 2019 IST
हवाई चप्पल, हाफ शर्ट, पर्रिकर जैसा कोई नहीं, 20 अनदेखी तस्वीरें

गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर की सादगी और आखिरी वक्त तक जज्बे के साथ देश सेवा के लिए उन्हें हमेशा याद किया जाएगा. पर्रिकर पैंक्रियाटिक कैंसर से पीड़ित थे और वह इस बीमारी से फरवरी 2018 से जूझ रहे थे.  

 
 

 
मनोहर पर्रिकर का राजनीतिक जीवन उपलब्धियों से भरा रहा. वो चार बार गोवा के सीएम रहे. 14 मार्च 2017 को पर्रिकर चौथी बार गोवा के मुख्यमंत्री बने थे. आखिरी वक्त तक वो बीमारी से लड़ते हुए भी मुख्यमंत्री बने रहे.  
 
 
गोवा की राजनीति में मनोहर पर्रिकर की मजबूत पकड़ थी. अपनी सादगी की वजह से वो जनता में बेहद लोकप्रिय थे. कई बार कार्यकर्ताओं की बाइक पर ही बैठकर क्षेत्र में लोगों से मिलने निकल पड़ते थे. 
 
 
जब 2014 में मनोहर पर्रिकर को रक्षा मंत्री बनाया गया तो वो वे सेना का मनोबल बढ़ाने के लिए बराबर उनके बीच पहुंच जाते थे.
 
 
पर्रिकर के रक्षा मंत्री रहते ही भारत ने पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में सर्जिकल स्ट्राइक कर पाकिस्तान और आतंकियों को सबक सिखाया था.
 
 
चार बार गोवा के मुख्यमंत्री रहे मनोहर पर्रिकर ने कभी भी अपने आपको हाईप्रोफाइल दिखाने की कोशिश नहीं की. एक बार तो किसी कार्यक्रम में पर्रिकर आम आदमी की तरह कतार में भी खड़े हो गए थे.
 
 
पर्रिकर को साइकिल चलाना भी बेहद पसंद था. वो खाली वक्त में साइकिल चलाया करते थे. हवाई चप्पल और हाफ शर्ट उनकी पहचान थी.  
 
 
मनोहर पर्रिकर आज के दौर के नेताओं से बिल्कुल अलग थे. वो खाने खाने के लिए कभी भी स्कूटर उठाकर सड़क किनारे ढाबे में पहुंच जाते थे, और आम आदमी के साथ बैठकर खाना खाते थे. 
 
 
मनोहर पर्रिकर अपने स्वभाव के चलते बच्चों में भी बेहद लोकप्रिय थे. कई बार बच्चे उन्हें घेर लिया करते थे तो वो भी बच्चों को निराश नहीं करते थे. 
 
 
मनोहर पर्रिकर की छवि हमेशा सादगी भरी रही. मीडिया में मनोहर पर्रिकर को अक्सर स्कूटर पर यात्रा करने वाले नेता के तौर पर पेश किया जाता रहा.
 
 
मनोहर पर्रिकर को फुटबॉल खेलना पसंद था. जब कभी वक्त मिलता था तो वो फुटबॉल के ग्राउंड में खिलाड़ियों के बीच पहुंच जाते थे.
 
 
मनोहर पर्रिकर हमेशा ट्रेन में इकोनॉमी क्लास में सफर करते थे. कई बार तो वो जनरल डिब्बे में खुली खिड़की के सामने बैठकर आम यात्री की तरह सफर करते कैमरे में कैद किए गए थे.
 
 
'आजतक' के कार्यक्रम में मनोहर पर्रिकर ने कहा था कि राजनेता की पहली पहचान सादगी से होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि स्कूटर से चलना और आम आदमी की तरह रहना ही उनकी सबसे बड़ी ताकत है.
 
 
मनोहर पर्रिकर ने कभी दिखावे की राजनीति नहीं की. उनका कहना था कि कर्म ही सबसे बड़ी पूजा है. लेकिन कुछ वक्त निकालकर वह पूजा-पाठ भी करते थे.  

 
 

 
पर्रिकर की बेदाग छवि और सादगी की वजह से पीएम मोदी उन्हें गोवा से केंद्र की राजनीति में लेकर आए थे.
 
 
मनोहर पर्रिकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बेहद विश्वासी और करीबी थे. हाल ही में पीएम मोदी ने मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर को आधुनिक गोवा का शिल्पकार बताया था और उनके जल्द स्वस्थ होने की कामना की थी.
 
 
मनोहर पर्रिकर ने कभी जातिगत राजनीति नहीं की, वह गोवा के हर वर्गों में लोकप्रिय थे, उनके पास जो भी समस्या लेकर आते थे, उस पर गंभीरता से विचार करते थे.
 
 
साल 2014 में जब प्रचंड बहुमत के साथ बीजेपी सत्ता में आई तो नरेंद्र मोदी को पहला नाम मनोहर पर्रिकर का याद आया. हर बार केंद्र की राजनीति ठुकरा देने वाले पर्रिकर इस बार इनकार नहीं कर पाए, और उन्हें रक्षा मंत्री बनाया गया था. 
 
 
जब नरेंद्र मोदी गुजरात के मुख्‍यमंत्री थे, तब भी उन्‍हें प्रधानमंत्री के दावेदार के रूप में कई बार पर्रिकर ने सामने लाने का प्रयास किया था. दोनों के संबंध उस समय से काफी अच्‍छे थे. 
 
 
पर्रिकर का जन्म साल 1955 में गोवा के मापुसा गांव में हुआ था. उन्होंने लोयोला हाई स्कूल से शुरुआती शिक्षा हासिल की थी. 1978 में उन्होंने आईआईटी मुंबई से इंजीनियरिंग में ग्रेजुएट डिग्री हासिल की. पर्रिकर के निधन से पूरा देश गमगीन है.

 
 
 
 
 

Related Topics

 
 
 

Trending News & Articles

 

More in National

 
 
 

   Prashnavali

  Thought of the Day

Awesome msg. Ek Sach Chupa Hota Hai :- Jab Koi Kisi Ko Kehta Hai Ki "Mazaak Tha Yaar". Ek Feeling Chupi Hoti Hai :- Jab Koi Kehta Hai "Mujhe Koi Farq Nahi Padta". Ek Dard Chupa Hota Hai :- Jab Koi Kehta Hai "Its Ok". Ek Zarurat Chupi Hoti Hai :- Jab Koi Kehta Hai "Mujhe Akela Chhod Do". Ek Gehri Baat Chupi Hoti Hai :- Jab Koi Kehta Hai "Pata Nahi". Ek Samundar Chupa Hota Hai Baato Ka :- Jab Koi "Khamosh Rehta Hai"..... Isi liye ek Open Heart Surgery unit k baahar likha huwa tha k...."Agar Dil Khol Lete Apne Yaaro Ke Saath,To Aaj Kholna Na Padta Auozaro K Saath".
Anonymous

Be the first one to comment on this story

Close
Post Comment
Shibu Chandran
2 hours ago

Serving political interests in another person's illness is the lowest form of human value. A 70+ y old lady has cancer.

November 28, 2016 05:00 IST
Shibu Chandran
2 hours ago

Serving political interests in another person's illness is the lowest form of human value. A 70+ y old lady has cancer.

November 28, 2016 05:00 IST
Shibu Chandran
2 hours ago

Serving political interests in another person's illness is the lowest form of human value. A 70+ y old lady has cancer.

November 28, 2016 05:00 IST
Shibu Chandran
2 hours ago

Serving political interests in another person's illness is the lowest form of human value. A 70+ y old lady has cancer.

November 28, 2016 05:00 IST


ads
Back To Top